Tag: sarita agrawal
-
Mother’s Day Special for my Mom!!
यह कविता में अपनी मां श्रीमती सरिता अग्रवाल के नाम समर्पित करना चाहूंगा, यह कविता वैसे हर मां के नाम है! घुटनों से रेंगते रेंगते, कब पैरों पर खड़ा हुआ तेरी ममता के छाव में मैं मां ना जाने कब बढ़ा हुआ, काला टीका दूध मलाई आज भी सब कुछ वैसा है, मैं ही मैं…